मेरा प्यार
मेरी आखों की कोरों से
लुड्कता हुआ चीखता, चिल्लाता
अनवरत
उन्हें नहीं कोई खबर
बस एक साथी
मेरा तकिया
कभी साथ हंसता
कभी रोता
आंसुओं को सोखता
कब तक चलेगा यह सिलसिला
शायद जब तक
मृत्यु ना करे आलिंगन
तब मेरा तकिया
मेर साथी भी
मुझे छोड देगा
तुम तब भी
किसी के आलिंगन में होगी
मेरी सोनी
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